नैनीताल ।हिंदी न्यूज़ ,मालधन सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र की बदहाल स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर महिला एकता मंच की पहल पर उपजिलाधिकारी कार्यालय में एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई। बैठक का उद्देश्य अस्पताल में एक्स-रे, अल्ट्रासाउंड, सर्जन, निश्चेतक, बाल रोग विशेषज्ञ, पैरामेडिकल स्टाफ जैसी बुनियादी सुविधाओं की कमी पर समाधान निकालना था।
बैठक में मुख्य चिकित्सा अधीक्षक (सीएमएस) प्रशांत कौशिक ने स्वास्थ्य केंद्र की जमीनी हकीकत रखते हुए बताया कि मालधन अस्पताल में कुल 10 परिचारिका पद स्वीकृत हैं, लेकिन वर्तमान में केवल 5 ही कार्यरत हैं। उन्होंने बताया कि इमरजेंसी सेवाएं भी सीमित हैं और वर्तमान में केवल तीन दिन ही उपलब्ध हैं। इसे सप्ताह में छह दिन किए जाने का प्रयास किया जा रहा है।
सीएमएस कौशिक ने बताया कि सर्जन, बाल रोग विशेषज्ञ, निश्चेतक व रेडियोलॉजिस्ट के पद लंबे समय से रिक्त हैं, जिससे मरीजों को इलाज में काफी दिक्कतें आ रही हैं। अस्पताल में प्रतिदिन लगभग 150 मरीजों की आमद है, लेकिन संसाधनों की भारी कमी है। उन्होंने बताया कि एक्स-रे मशीन अस्पताल में मौजूद है, लेकिन टेक्नीशियन न होने के कारण मशीन चालू नहीं हो पा रही है।
उन्होंने कहा कि जिला प्रशासन से अल्ट्रासाउंड वैन सप्ताह में छह दिन उपलब्ध कराने की मांग की गई है। उन्होंने यह भी बताया कि सरकार वर्तमान में नियुक्तियां केवल दुर्गम क्षेत्रों के लिए कर रही है, जबकि मालधन क्षेत्र को सुगम मानकर यहां नई नियुक्तियों पर रोक लगी हुई है। इसके साथ ही यह भी जानकारी दी गई कि फिजीशियन व प्रसूति रोग विशेषज्ञ का स्थानांतरण मालधन से पिथौरागढ़ के लिए प्रस्तावित है, जिसकी सूचना विधायक को भी दे दी गई है।
महिला एकता मंच की सरस्वती जोशी, ममता और पुष्पा उप्पा ने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि भाजपा सरकार मालधन की जनता की उपेक्षा कर रही है। उन्होंने चेतावनी दी कि मालधन से डॉक्टरों का ट्रांसफर किसी भी हालत में स्वीकार नहीं किया जाएगा। उन्होंने मांग की कि सरकार द्वारा नियुक्त किए जा रहे 34 एक्स-रे टेक्नीशियन में से एक मालधन को भी तत्काल दिया जाए।
पुष्पा ने बताया कि जनता के आंदोलन के चलते ही मालधन अस्पताल को फिजीशियन, प्रसूति रोग विशेषज्ञ, पांच परिचारिका, एंबुलेंस व पैथोलॉजी लैब जैसी सुविधाएं मिल पाई हैं। लेकिन अब भाजपा सरकार इन सुविधाओं को खत्म कर शराब की दुकानें खोलने में व्यस्त है। सरस्वती जोशी ने दो टूक कहा कि “महिला एकता मंच का ‘नशा नहीं इलाज दो’ अभियान तब तक जारी रहेगा, जब तक क्षेत्र को पूर्ण स्वास्थ्य सुविधाएं नहीं मिल जातीं।”
बैठक में तय हुआ कि अगले सप्ताह महिला एकता मंच द्वारा एक और बैठक आयोजित की जाएगी जिसमें आगे की रणनीति बनाई जाएगी। आंदोलन को और तेज करने पर भी विचार किया जा रहा है।
इस वार्ता में उपजिलाधिकारी प्रमोद कुमार, सीएमएस मालधन प्रशांत कौशिक, सीएमएस बैलपड़ाव, महिला एकता मंच की सरस्वती जोशी, ममता, पुष्पा तथा उप्पा नेता प्रभात ध्यानी सहित कई लोग मौजूद रहे।